गहराता जल संकट, सरकार की चुप्पी बरकरार : सतीश कुमार

मेदिनीनगर (पलामू)

गर्मी के मौसम की शुरुआत है। मेदिनीनगर समेत पुरे पलामू मे जल संकट गहराता जा रहा है। जल संकट से जनता को राहत देने के लिए सरकार की ओर से कोई तैयारी नहीं है। हर बर्ष गर्मी के मौसम में राजनीतिक दल सक्रिय होती है। जैसे ही बर्षा होती है सभी नेताओं की घीघी बन्द हो जाती है। प्रसाशनिक स्तर पर जल संकट से निपटने के लिए बडी बडी योजना अखबार की सुर्खियां बनती है मगर सब के सब टाय टाय फिस। मेदिनीनगर मे जल संकट का बडा कारण जल श्रोतो का अतिक्रमण। सभी तलाब पोखरा जो जल संचयन करते थे प्रशासनिक संरक्षण में भर कर अलिशान मकान बन गय है। एक मात्र लाइफ लाइन कोयल नदी है जिसमें पानी रोकने कि कोई ब्यवस्था नहीं है।हर बर्ष निगम के द्वारा कुछ चुनिंदा वार्ड में टैंकर से पानी दी जाती है वो भी अपर्याप्त है। हर बर्ष जल सप्लाई घोटाला चर्चा में आती है। पम्पु कल का मोटर सप्ताहिक खराब होता है पानी आपूर्ति बाधित हो जाती है ये खेल संवेदक और अधिकारियों के गठजोड़ का परिणाम है। एक मात्र नेता परशुराम ओझा जो सालो पानी आपुर्ति के लिये लडते रहते है व प्रतिदिन जल आपूर्ति के लिए संवेदनशील है।स्थानिय जन प्रतिनिधियों को गहराता जल संकट से कोई चिन्ता नहीं है। आजसू पार्टी के केन्द्रीय सचिव सतीश कुमार ने कहा कि जन प्रतिनिधियों का कर्तव्य है कि जनता को पेय जल मुहैया कराने के लिए वैकल्पिक ब्यवस्था करे। अगर इमानदारी से सरकारी तंत्र प्रयास करता तो अब तक स्थायी निराकरण हो जाता। जंगल कि अंधाधुंध कटाई, जल श्रोतो पर अवैध कब्जा, तलाब नहर नालों की सफाई नहीं होना, पलामू के जल श्रोत मंडल डैम जो अवैध कमाई व भ्रष्टाचार के शुली पर चढ गई है। साथ ही अगर कोयल और अमानत नदी को बांध कर पानी स्टाक किया जाता तो बडी हिस्से मे जल संकट से निजात मिलता। राज्य के वित्त मंत्री राधाकृष्ण किशोर जी को मंत्री मंडल मे जगह मिलने से पलामू की जनता को जल संकट के स्थाई निदान की उम्मीद जगी है। सतीश कुमार ने मंत्री जी से वार्ता किया तो उन्होंने कहा कि जल्द ही जल संचयन करने के लिए नदी मे बांध बनायी जाएगी। पलामू के जनता से अपील है कि एक जुट होकर आन्दोलन करे तभी अकाल अल्पवृष्टी व पेय जल व जल संकट से निजात मिलेगी।

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