मेदिनीनगर (पलामू)
मेदिनीनगर के टाउन हॉल में आत्मनिर्भर भारत संकल्प अभियान कार्यक्रम का आयोजन किया गया जिसमे उपस्थित लोगों को स्वदेशी अपनाते हुए दूसरे लोगों को भी स्वदेशी अपनाने हेतु प्रेरित करने पर बल दिया गया. मौके पर बतौर मुख्य अतिथि झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री अर्जुन मुंडा ने संबोधन के दौरान कहा किमोदी के नेतृत्व में भारत हर एक दिशा में आत्मनिर्भर हो रहा है, आत्मनिर्भर भारत स्वदेशी का आंदोलन है, हम सभी को इस अवसर पर ध्यान रखना है कि हम अपने गांव और क़स्बा में कैसे आत्मनिर्भरता के क्षेत्र में काम कर सकते हैं, देश में 2014 के बाद जनता ने ऐसी सरकार को चुना जो नीतियों की स्पष्टता के साथ सबका साथ सबका विकास के साथ काम कर रही है, आज हमारा कौशल विकास करने के बाद युवाओं को विभिन्न क्षेत्रों में रोजगार प्राप्त हो रहा है और वे सब सशक्त एवं आत्मनिर्भर बन रहे हैं, हमें यह सुनिश्चित करना है कि हमारे यहां जो उत्पादन हो रहा है उस उत्पादन का उपभोग हमारे द्वारा किया जाये. उन्होंने आवाहन किया कि हमसभी स्वदेशी अपनाएं और आत्मनिर्भर भारत की परिकल्पना को पूर्ण करें.उन्होंने कहा कि पहले हम बाहर से वस्तुओं को मंगाते थे और खरीदते थे परन्तु आज हम खुद बड़े निर्माता बनकर उभर रहे हैं और स्वयं दूसरे देशों को बस्तुओं का निर्यात कर रहे हैं. हमारी अर्थव्यवस्था का तहसील होनी चाहिए इसलिए आज देश में नेशनल हाईवे का काम रेलवे का काम विद्युत उत्पादन का काम जोरों से चल रहा है. स्वदेशी अपनाते हुए स्थानीय संसाधनों को अपनाते हुए झारखण्ड में डबल इंजन की सरकार को बनाना है.वहीं मौके पर उपस्थित पलामू सांसद श्री विष्णु दयाल ने कहा कि आत्मनिर्भर भारत का अर्थ एक ऐसे देश से है जो अपनी आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए वैश्विक स्तर पर दूसरों पर कम निर्भर हो। यह पहल देश के स्वयं के संसाधनों, प्रतिभाओं और उद्योगों का उपयोग करेगी। उन्होंने यह भी कहा कि स्वदेशी अपनाने और आत्म भारत के संकल्प का अर्थ यह कदापि नहीं कि हम दूसरे देश के साथ अपने रिश्ते को खराब कर लें, उन्होंने कहा कि इसका लक्ष्य भारत को आर्थिक,सामाजिक और तकनीकी रूप से मजबूत और स्वतंत्र बनाना है ताकि वह आत्मविश्वास से वैश्विक चुनौतियों का सामना कर सके। उन्होंने स्थानीय व्यवसायों, नवाचारों और उत्पादन को बढ़ावा देने की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने कार्यकर्ताओं और जनता से आह्वान किया कि वे अपने दैनिक जीवन में स्वदेशी का उपयोग कर देश को मजबूती की दिशा में ले जाएं। उन्होंने कहा कि देश के जनमानस में स्वभाषा,स्वभूषा का भाव होना चाहिए ताकि विश्व के अन्य देशों की भांति भारत भी 2047 तक विकसित भारत के लक्ष्य को पूरा कर सके। उन्होंने छोटे उद्यमियों को प्रोत्साहन देकर देश के उत्पादन को बढ़ावा देने पर ज़ोर दिया जो देश की आर्थिक स्थिति को मजबूत करेगा।प्रदेश महामंत्री मनोज सिंह ने कहा कि यह अभियान 25 सितंबर से शुरू होकर 25 दिसंबर तक तीन माह चलेगा। कहा कि स्वदेशी का अर्थ केवल वस्तुओं का उपयोग नहीं है, बल्कि यह हमारी भाषा, संस्कृति, पहनावे और रीति-रिवाजों से भी जुड़ा है। उन्होंने कहा कि आजादी की लड़ाई में स्वदेशी ने ही हमें अंग्रेजों के खिलाफ खड़ा किया था। गांधी जी ने चरखे के माध्यम से हर व्यक्ति को जोड़ने का कार्य किया। आज के दौर में भी हमें स्वदेशी को नए संदर्भों में परिभाषित करना होगा। उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2014 से ‘मेक इन इंडिया’ और ‘मेड इन इंडिया’ की नीतियों के जरिए स्वदेशी को बढ़ावा दिया है। इसी का परिणाम है कि भारत का रक्षा निर्यात कुछ सौ करोड़ से बढ़कर 24,000 करोड़ रुपये हो गया है।वहीं विधायक आलोक चौरसिया ने अपने संबोधन में स्वदेशी के उपयोग को विकसित भारत की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम बताया। उन्होंने कहा कि भारत को विकसित देश बनाने के लिए हमें स्वदेशी सामानों के उपयोग में बढ़ावा देना चाहिए क्योंकि विदेशी सामानों के उपयोग से पैसा विदेश चला जाता है। जिला अध्यक्ष अमित तिवारी ने विषय प्रवेश करते हुए आत्मनिर्भर भारत संकल्प अभियान के उद्देश्यों को बताया. भाजपा के वरिष्ठ नेता श्री श्याम नारायण दुबे, पूर्व महापौर श्रीमती अरुणा शंकर, पूर्व मंत्री श्री कमलेश सिंह, विपिन बिहारी सिंह परशुराम ओझा विजय आनंद पाठक नरेंद्र पांडे प्रफुल्ल सिंह विभाकर नारायण पांडे मंगल सिंह अविनाश वर्मा अजय तिवारी उदय शुक्ला दुर्गा जौहरी शिव कुमार मिश्रा विजय ओझा ईश्वरी पांडे सरवन गुप्ता सोमेश सिंह भोला पांडे शशि भूषण पांडे प्रेमजीत कुमार नंदलाल गुप्ता स्मिता लवली गुप्त रूप सिंह एवं सैकड़ो की संख्या मे कार्यकर्ता एवं नेता मौजूद थे।

